ठग ने महिला को आनलाइन विदेशी सामान भेजा… दूसरे ने कस्टम अफसर बनकर 25 लाख रुपए वसूल लिए… झारखंड से पूरा गैंग ले आई पुलिस

राजधानी रायपुर में कुछ माह पहले एक महिला को साइबर ठगों के एक गिरोह ने बुरी तरह फांसा और उसे धमकाकर 25 लाख रुपए से ज्यादा वसूल लिए। यह रकम महिला से अलग-अलग बैंक खातों में डलवाई गई, फिर गैंग के लोगों ने उसे तत्काल एटीएम के जरिए निकाल भी लिया। ठगी का तरीका भी अलग था। कभी-कभार आनलाइन शापिंग करनेवाली इस महिला को एक साइबर ठग ने काल कर खुद को दूर का रिश्तेदार बताया और थोड़ा विदेशी सामान भेज दिया। सामान डिलीवर होने के बाद दूसरे ठग का महिला को काल आया। उसने खुद को कस्टम अफसर बताकर महिला से कहा कि उसने कस्टम की बड़ी चोरी करवाई है। या तो जुर्माना देना होगा, या फिर जेल भेज दिया जाएगा। महिला घबराकर जुर्माना देने पर राजी हुई। इसके बाद ठग ने उससे अलग-अलग खातों में 25 लाख रुपए से ज्यादा रकम डलवा ली। जैसे ही महिला ने खातों में रकम ट्रांसफर करनी शुरू की, गैंग के दूसरे सदस्यों ने इसे बहुत सारे लोगों के एटीएम कार्ड इस्तेमाल कर निकाल लिया और पैसे दूसरे खातों में शिफ्ट कर सारे सबूत मिटा दिए। लेकिन महिला को आए फोन नंबरों के जरिए पुलिस धनबाद में इस गैंग तक पहुंच गई। लेकिन इन ठगों का इलाके में ऐसा नेटवर्क है कि रायपुर की टीमें वहां जाने के बाद भी गिरफ्तार नहीं कर सकीं, क्योंकि ये भाग जाते थे।
अंततः दो दिन पहले पुलिस तैयारी के साथ पहुंची और किसी को भनक नहीं लगने दी गई। कुछ घंटे में पुलिस टीमों ने धनबाद के महुदा और आसपास के गांवों से गैंग के शकूर अहमद, रजा मुराद, अरशद अंसारी और सबा करीम को दबोच लिया। इनमें से दो ठग 21 साल के और दो ठग 24 साल उम्र के हैं। चारों को रायपुर लाया गया है। पूछताछ में गैंगबाजों का पूरा नेटवर्क भी तोड़ा जा रहा है। आरोपियों ने अपने रिश्तेदारों और करीबियों के दर्जनों फोन खाते और एटीएम कार्ड अपने पास रखे थे, जिसमें फ्राड की रकम पहुंची और फिर एटीएम से निकाली गई। हर खातेदार को ट्रांजेक्शन पर कमीशन भी दिया गया। इन लोगों का भी पता लगाया जा रहा है। चूंकि साइबर ठगों ने पैसे खाते में डालते ही एटीएम से निकलवा लिए थे, इसलिए पैसे जब्त नहीं हो पाए हैं। इस मामले का भंडाफोड़ करनेवाली पुलिस टीमों में आमानाका टीआई सुनील दास, एसआई रमेशचंद यादव, हवलदार संजय सिंह, उत्तम सोनी और सिपाही अशीष शुक्ला के साथ क्राइम ब्रांच से महिपाल राजपूत, दुष्यंत सोनवानी, दीपक पाण्डेय, गुलशन चौबे और सावित्री साहू शामिल रहीं। जांच में यह भी पता चला है कि चारों साइबर ठगों ने कई और राज्यों में इसी तरह लोगों को ठगी का शिकार बनाया है। इनके खिलाफ दर्ज और मामलों का ब्योरा भी लिया जा रहा है।