प्रदेश के 27 घरानों को 32 हजार करोड़ की इंडस्ट्रीज खोलने का आफर… आई़टी-एआई, मिथेनाल, ग्रीन एनर्जी पर फोकस
प्रदेश में इंफरमेशन टेकनालाजी, आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस, मिथेनाल और ग्रीन एनर्जी जैसे उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए साय सरकार ने बड़ी पहल की है। प्रदेश के 27 बड़े औद्योगिक घरानों को सरकार की तरफ से 32 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा की इंडस्ट्री खोलने का आफर (इंटेंट टू इन्वेस्ट) दिया गया है। इन उद्योग समूहों में शिवालिक इंजीनियरिंग, मां दुर्गा आयरन एण्ड स्टील, एबीआरईएल ग्रीन एनर्जी, आरएजी फेरो एलायज, रिलायंस बायो एनर्जी, यश फैंस एण्ड एप्लाएंसेस, शांति ग्रीन्स बायोफ्यूल, रेक बैंक डाटा सेंटर आदि शामिल हैं। सीएम साय ने सभी के लिए इंटेंट आफ इन्वेस्टमेंट लेटर जारी किए हैं। उनसे कहा गया है कि नई औद्योगिक नीति के जरिए छत्तीसगढ़ सरकार ने यहां इंडस्ट्री लगाने के लिए रेड कारपेट बिछा दिया है।
जिस तरह की इंडस्ट्री लगाने के लिए सरकार ने ऐसी पहल की है, उसमें कोर सेक्टर के अलावा नए रिया जैसे आईटी, एआई, डाटा सेंटर, एथेनॉल, इलेक्ट्रॉनिक्स, इलेक्ट्रिकल और कम्प्रेस्ड बायोगैस जैसे सेक्टर शामिल हैं। इससे राज्य का औद्योगिक विकास तो होगा ही, रोजगार की संभावनाएं भी बढ़ जाएंगी। सीएम साय ने नई औद्योगिक विकास नीति को लेकर उद्योगपतियों के साथ संवाद में कहा कि प्रदेश की नई नीति में उद्योग लगाने की प्रक्रिया सरल की गई है और राहत के कई प्रावधान हैं। सिंगल विंडों सिस्टम से सारी जरूरतें आसानी से पूरी की जा सकती हैं। उद्योग मंत्री लखन लाल देवांगन ने कहा कि नई नीति से प्रदेश में निवेश तो आएगा ही, नए उद्योगों की स्थापना से लोगों को रोजगार मिलेगा। इस संवाद में शामिल हुए नीति आयोग के वरिष्ठ सलाहकार संजीत सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ की औद्योगिक नीति से प्रदेश में सस्टेनेबल औद्योगिक विकास को नई दिशा मिलेगी। नई नीति में एमएसएमई उद्योगों को सशक्त बनाने का अच्छा प्रयास किया गया है, और नए सेक्टर में इंसेंटिव दिए जा रहे हैं। यह महत्वपूर्ण पहलू हाै।
इंडस्ट्री लगाने की औपचारिकताएं सरलः सीएस जैन
छत्तीसगढ़ के चीफ सेक्रेटरी अमिताभ जैन ने कहा कि नई औद्योगिक नीति में एक इंडस्ट्री लगाने के लिए जरूरी सभी मुद्दों को काफी सरल किया गया है। उद्योग सचिव रजत कुमार ने बताया कि राज्य में औद्योगिक विकास को रफ्तार देने वाले कई प्रावधान किए गए हैं। कार्यक्रम में विभिन्न औद्योगिक संगठनों के प्रतिनिधियों सहित अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।