सुनीता विलियम्स समेत एस्ट्रोनॉट चले धरती की ओर… कुछ घंटे में वायुमंडल में एंट्री, इसके 57 मिनट बाद समुद्र में लैंडिंग

स्पेस स्टेशन ISS में नौ महीने से फंसे अंतरिक्ष यात्रियों सुनीता विलियम्स और बूच विल्मोर का धरती में वापसी का सफ़र शुरू हो गया है।उनके साथ स्पेस क्रू ड्रैगनक्राफ़्ट कैप्सूल में दो और कॉस्मोनॉट निक हैग और अलेक्जेंडर गोरबुनोव भी हैं। सुनीता और विल्मोर को लाने के लिए स्पेसएक्स का यान रविवार को स्पेस स्टेशन से डॉक हुआ (जुड़ा) था। मंगलवार को सुबह स्पेस स्टेशन से ड्रैगन स्पेसक्राफ्ट चारों एस्ट्रोनॉट को लेकर पृथ्वी के लिए निकल गया है और अभी कक्षा में चक्कर लगा रहा है। अभी जो शेड्यूल तय हुआ है, उसके मुताबिक ड्रैगन कैप्सूल बुधवार को तड़के पौने 3 बजे पृथ्वी की कक्षा में एंट्री करेगा। इस प्रक्रिया को डी-ऑर्बिट बर्न कहते हैं और अंतरिक्ष से धरती में आते समय यही प्रोसेस सबसे खतरनाक रहता है। इस दौरान कैप्सूल की रफ़्तार ध्वनि से 22 गुना ज़्यादा रहेगी। वायुमंडल के घर्षण से ड्रैगन कैप्सूल की बाहरी सतह का तापमान 1970 डिग्री सेल्सियस हो जाएगा। स्पीड और तापमान के के कारण अंतरिक्ष यात्रियों के कैप्सूल से करीब एक घंटे तक कोई संपर्क नहीं रहेगा। इसे ब्लैकआउट कहा जाता है। इसी दौरान कैप्सूल फ्लोरिडा कि समुद्र में दो पैराशूट के ज़रिए लैंड करेगा। सब कुछ ठीक रहनेपर लैंडिंग टाइम भारतीय समय के अनुसार बुधवार को सुबह 4 बजे का है। पूरी दुनिया की नज़रे अंतरिक्षयात्रियों की इस वापसी की ओर हैं। नासा इसका दुनियाभर में सीधा प्रसारण करने जा रहा है।