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छत्तीसगढ़ में नशे के सौदागरों पर रासुका जैसी कार्रवाई… रायपुर कमिश्नर ने 4 आरोपियों को 6 माह के लिए भेजा जेल

नशा बेचने वाले माल के साथ पकड़े जाएं या नहीं, अगर उनका ऐसा पुराना रिकार्ड है तो इस आधार पर ऐसे तमाम आरोपियों के खिलाफ नए कानून पिट-एनडीपीएस एक्ट के तहत ऐसी कार्रवाई शुरू हुई है, जिसे एनएसए या राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) की तरह9 सख्त माना जा रहा है। आईजी अमरेश मिश्रा के निगरानी में रायपुर एसएसपी संतोष कुमार सिंह ने राजधानी और आसपास के तकरीबन 4 दर्जन नशे का सामान बेचने वालों का पूरे रिकार्ड के साथ प्रस्ताव रायपुर कमिश्नर महादेव कांवरे को भेजा था। कमिश्नर कांवरे ने इन प्रस्तावों पर पिछले दो दिन में पिट-एनडीपीएस के तहत नशा बेचने वाले 3 लोगों को सीधे 6-6 महीने के लिए जेल भेजने की सजा दी है। कानूनी जानकारों के मुताबिक पिट-एनडीपीएस में जिन लोगों को जेल भेजा गया है, जब तक उसकी अवधि पूरी नहीं हो जाती, जमानत नहीं मिलेगी। केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने लगभग डेढ़ माह पहले रायपुर प्रवास के दौरान पुलिस अफसरों से पूछा था कि पिट-एनडीपीएस के तहत यहां नशा बेचनेवालों के खिलाफ कितनी कार्रवाई की गई है। उसके तुरंत बाद बलौदाबाजार एसपी विजय अग्रवाल के प्रतिवेदन पर रायपुर कमिश्नर ने एक ड्रग पैडलर को छह माह के लिए जेल भेजा था। इस दौरान रायपुर पुलिस ने बड़ी संख्या में पिट-एनडीपीएस के केस बनाकर कमिश्नर को भेजे हैं।

रायपुर एसएसपी ने बताया कि कमिश्नर कांवरे ने दो दिन में रायपुर पुलिस के प्रतिवेदन पर आमानाका इलाके के अजीत सिंह को तीन माह और खमतराई के उदय जैन को छह माह की सजा दी है। गुरुवार को बाबू उर्फ देगा तथा उरला के बैशाखू को पिट एनडीपीएस में जेल भेजा था। अफसरों के मुताबिक इस सख्त कार्रवाई के पीछे नशीले पदार्थों की अवैध बिक्री पर रोक लगाना है। पुलिस इन मामलों में आरोपियों की संपति जप्त करने की भी कार्यवाही भी शुरू करने जा रही है।

1988 का कानून, कमिश्नर को सीधे सजा का पावर

कानून के जानकारों के मुताबिक पिट एनडीपीएस एक्ट नया नहीं बल्कि 1988 में बनाया गया था, लेकिन नशे के फैलाव को देखते हुए इस पर अमल छत्तीसगढ़ में पहली बार हो रहा है। कमिश्नर यानी संभागायुक्त को इस एक्ट की  धारा 10 के तहत सीधे सजा देने का पावर है। रायपुर में ऐसे दर्जनों आदतन अपराधी जो एनडीपीएस मामलों में लगातार सक्रिय हैं, उनका पिट एनडीपीएस में केस बनवाया गया है। सभी केस रायपुर संभाग कमिश्नर की कोर्ट में कार्यवाही के लिए भेजे गए हैं। पिट एनडीपीएस रासुका जितना ही कठोर कानून है।

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