डीएसपी के बाद अब आईपीएस के लिए 5 को डीपीसी…लेकिन इंस्पेक्टरों को 16 साल से डीएसपी बनने का इंतजार
छत्तीसगढ़ के 18 डीएसपी को एडिशनल एसपी बनाने का रास्ता डीपीसी होने के बाद साफ हो गया और प्रमोशन का आदेश हफ्तेभर में जारी हो जाएगा। इसी तरह, राज्य पुलिस सेवा के कम से कम तीन अफसरों को आईपीएस अवार्ड के लिए 5 अगस्त को डीपीसी होने की संभावना है। इनमें 1998 बैच के प्रफुल्ल ठाकुर और राजेंद्र प्रसाद भैया तथा 1999 बैच नहीं होने से 2000 बैच के विजय पांडे का नाम शामिल किया जा सकता है। इधर, लगातार उठा-पटक के बावजूद छत्तीसगढ़ के इंस्पेक्टरों को 16 साल से प्रमोशन नहीं मिल पाया है। उच्चपदस्थ सूत्रों के मुताबिक तकरीबन 16 इंस्पेक्टरों को डीएसपी प्रमोद करने की औपचारिक प्रक्रिया अधिकतम 15 दिन में पूरी कर ली जाएगी और नामों की सूची छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग को भेज दी जाएगी। क्योंकि डीएसपी प्रमोशन को हरी झंडी पीएससी से ही मिलनी है।
आईपीएस प्रमोशन के लिए दिल्ली में 5 अगस्त को होने वाली डीपीसी में छत्तीसगढ़ के डीजीपी अशोक जुनेजा और गृह सचिव के साथ-साथ यूपीएससी के प्रतिनिधि भी हिस्सा लेंगे। सूत्रों के अनुसार वर्ष 2022 और 2023 की सलेक्ट लिस्ट के लिए डीपीसी होगी। अफसरों को 2023 बैच के लिए आईपीएस अवार्ड होगा। फिलहाल राज्य पुलिस सेवा के 1998 बैच के अफसरों का प्रमोशन लगभग तय माना जा रहा है। प्रफुल्ल ठाकुर और राजेंद्र भैया इसी बैच के हैं। 1999 बैच के डीएसपी नहीं हैं, इसलिए वर्ष 2000 बैच के डीएसपी में से वरिष्ठता के आधार पर विजय पांडे का नाम है। हालांकि ये तीनों ही दीगर सेवाओं से आए दो अफसरों वायपी सिंह और धर्मेंद्र सिंह के संविलियन के कारण दो साल पिछड़ चुके हैं।
2008 में इंस्पेक्टर बने, अब तक इसी पद पर
प्रमोशन को लेकर सबसे ज्यादा इंतजार उन इंस्पेक्टरों को है, जो 2008 में सब इंस्पेक्टर से इस पद पर प्रमोट हुए थे। प्रमोशन को 16 साल बीत गए, लेकिन उनका अब तक दूसरा यानी डीएसपी प्रमोशन नहीं हो पाया है। जबकि मध्यप्रदेश में इससे आगे वाले बैच के इंस्पेक्टर भी डीएसपी बन चुके हैं। तकरीबन 16 इंस्पेक्टरों का डीएसपी के तौर पर प्रमोशन होना है। जिलों में इनके डाक्यूमेंट तो मंगवाए गए हैं, लेकिन सूत्रों के अनुसार अब तक दस्तावेजों का प्रदेश के गृह मंत्रालय में कंपाइलेशन नहीं हुआ है। जानकारों के मुताबिक भले ही सरकार इंस्पेक्टरों को जल्दी ही डीएसपी बनाने के आश्वासन दे चुकी है, लेकिन अगर प्रक्रिया अभी आगे बढ़ाई जाती है, और पूरी गति से काम होता है, तब भी कम से कम एक माह लग सकता है। डीपीसी में पीएससी के प्रतिनिधि भी रहेंगे, इसलिए इसमें भी वक्त लगेगा। साय सरकार ने खाली पदों पर प्रमोशन की प्रक्रिया शुरू की है, इसलिए इंस्पेक्टरों को भी उम्मीद है कि उनकी तथा उनके बाद खाली होने वाले अन्य पदों के लिए डीपीसी जल्दी की जाएगी।