सीएम साय अचानक पहुंचे बस्तर फोर्स के कैम्प में, रात वहीं रुके… जवानों से कहा- पीएम मोदी व गृहमंत्री शाह भी आपकी प्रशंसा करते हैं
बस्तर विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष के तौर पर बैठक में शामिल होने गए सीएम विष्णुदेव साय ने सोमवार की रात अचानक कहा कि वे बस्तर में लड़ाई लड़ रही फोस के कैंप में जाना चाहते हैं और रात्रि विश्राम वहीं करना चाहते हैं। उनकी इस इच्छा से अफसर बेचैन हो गए। डीजीपी अशोक जुनेजा और एसीएस होम मनोज पिंगुवा उन्हें बस्तर के सेडवा सीआरपीएफ कैम्प में ले गए। सीएम सीय को देखकर सीआरपीएफ जवानों का जोश और बढ़ गया। सीएम ने उन्हें बताया कि पिछले 11 महीनों के दौरान आप लोगों ने जिस तरह नक्सलियों के साथ लड़ाई में ऐतिहासिक सफलता दर्ज की है, उसकी पूरे देश में प्रशंसा हो रही है। आप लोग परिवार और सुख-सुविधाओं से दूर रहकर बस्तर के विकास में ऐसा योगदान दे रहे हैं, जिससे यहां के जनजातीय समुदायों के हृदय में आपने जगह बना ली है।
जवानों से मुखातिब सीएम साय ने कहा कि जब मैं बस्तर क्षेत्र आदिवासी विकास प्राधिकरण की बैठक में चित्रकोट आया था, तो मेरी बड़ी इच्छा थी कि मैं आप सबसे मिलूं। इसीलिए मैं आज यहां आया हूं। उन्होंने कहा कि पिछले 11 महीनों में छत्तीसगढ़ में नक्सल मोर्चे पर जो सफलता मिली है, उसमें आपका सबसे महत्वपूर्ण योगदान है। आपकी पूरे देश में प्रशंसा हो रही है। पीएम मोदी से मेरी जब भी मुलाकात होती है, वे नक्सल अभियान में छत्तीसगढ़ को मिल रही सफलता का जिक्र जरूर करते हैं। यही नहीं, गृह मंत्री अमित शाह भी पूरा मार्गदर्शन और सहयोग कर रहे हैं। हमने बस्तर में नक्सलवाद को वर्ष 2026 तक समूल नष्ट करने का संकल्प लिया है। पीएम मोदी और गृहमंत्री शाह का भी यही संदेश है। बस्तर में फोर्स ने कम अवधि में 200 से ज्यादा नक्सलियों को ढेर कर दिया है। 740 से ज्यादा माओवादियों ने सरेंडर किया है। शासन ने हिंसा का त्याग करने वाले नक्सलियों के पुनर्वास के लिए ऐसी नीति बनाई है कि आने वाले दिनों में और भी बड़ी संख्या में नक्सली आत्मसमर्पण करेंगे। अफसरों ने बताया कि सुरक्षा बल के जवानों ने सीएम साय से आग्रह किया कि वे रात्रि विश्राम कैंप में ही करें। सीएम साय ने उनकी बात मानी और रात कैंप में ही गुजारी।