रायपुर फायरिंग की तरह जशपुर गोलीकांड को भी वहां की पुलिस ने 16 घंटे में सुलझाया… 15 गांव के जंगल छानकर दबोचा शूटर को
रायपुर सेंट्रल जेल के गेट पर जिस दिन फायरिंग हुई, उसके ठीक 20 घंटे बाद जशपुर के एसबीआई ग्राहक सेवा केंद्र में दो नकाबपोश लुटेरे एक वृद्धा की गोली मारकर हत्या करने के बाद भाग निकले थे। रायपुर पुलिस ने फायरिंग केस कुछ घंटे में सुलझा लिया, इसलिए जशपुर पुलिस ने वहां की वारदात को सुलझाने में पूरी ताकत लगा दी। जशपुर एसपी शशिमोहन सिंह समेत दर्जनभर टीमों ने दोनों शूटरों की तलाश में 15 गांव के जंगल छान मारे, क्योंकि एक गांव के जंगल के बाहर बाइक मिली थी। टेकनिकल तथा लोकल इंटेलिजेंस के बलबूते पर जशपुर पुलिस ने वृद्धा को गोली मारने वाले दो आरोपियों में से एक को दबोच लिया है। गिरफ्तार आरोपी का नाम रातू राम बताया गया है। उसका साथी कुख्यात बदमाश रवि उरांव फरार है, जिसे पुलिस युद्धस्तर पर ढूंढ रही है। इस ब्लाइंड शूटआउट को सुलझाने में लगी टीमों के लिए सरगुजा आईजी अंकित गर्ग ने रायपुर आईजी अमरेश मिश्रा की ही तर्ज पर पुरस्कार देने की घोषणा की है।
जशपुर एसपी शशिमोहन सिंह तथा टीम ने बुधवार को बटईकेला कियोस्क सेंटर में लूट के दौरान वृद्धा की हत्या के एक आरोपी रातू राम को मीडिया के सामने लाया। उससे पूछताछ तथा साइबर सेल की ओर से मिली जानकारियों के आधार पर पुलिस ने दावा किया कि लूट के दौरान गोली रवि उरांव ने चलाई थी, जो फरार है। बता दें कि 5 नवंबर को जशपुर के कियोस्क सेंटर में सुबह 11 बजे दो नकाबपोश लुटेरे घुसे। भीतर आते ही रवि उरांव ने कट्टा निकाला और ग्राहक सेवा केंद्र के संचालक संजू गुप्ता के सिर पर बट से मारकर पैसे झोले में डालने के लिए कहा। दोनों लूटपाट कर रहे थे, तभी संजू की दादी उर्मिला बाई किराना दुकान के रास्ते क्योस्क सेंटर में घुसी। भीतर उन्होंने अपने पोते से मारपीट होते देखी तो आरोपी का कट्टा पकड़ लिया और छीनने तथा बीचबचाव की कोशिश करने लगीं। एसपी शशिमोहन के मुताबिक इसी दौरान रविं ने उर्मिला गुप्ता पर कट्टे से फायर किया। वे मौके पर ही गिरीं और मौत हो गई। इसके बाद दोनों लुटेरे माल लेकर बाहर निकले। एक युवक ने कुछ दूरी पर दोनों को रोकने की ताकतवर कोशिश की। नतीजा यह हुआ कि दोनों लुटेरे जंगल के सामने बाइक छोड़कर भीतर घुसे और गायब हो गए। इस वारदात की सूचना मिलते ही पुलिस ने बाइक तथा जंगलों पर फोकस किया। आसपास के 15 गांव के जंगल छान मारे गए। इस बीच, कुछ टीमें तकनीकी तथा अन्य इन्वेस्टिगेशन में भी लगीं। इसी बीच पुलिस को रवि उरांव की भनक लगी। एक टीम बरामद बाइक के मालिक के पास पहुंची, तो उसने भी पुष्टि कर दी कि रवि उरांव ही बाइक ले गया था। इसके बाद पुलिस ने दोनों नकाबपोशों पर घेरा कसा तो रातु राम घिर गया। उसने रवि उरांव के साथ मिलकर अपराध स्वीकार कर लिया और बताया कि ग्राहक सेवा केंद्र में कैश आता है, इसलिए वहां लूटपाट करने की योजना दोनों ने जेल में बनाई थी। दिवाली से पहले दोनों ने बटाईकेला जाकर रेकी भी की और 5 नवंबर को कियोस्क सेंटर पर लूटपाट के लिए धावा बोल दिया। एसपी शशिमोहन सिंह ने बताया कि इस पूरे अभियान में अच्छी कार्रवाई के लिए आईजी अंकित गर्ग ने पूरी टीम के लिए ईनाम घोषित किया है। इस टीम में एएसपी निमिषा पाण्डेय, एसडीओपी विनोद मंडावी, डीएसपी विजय राजपूत, इंस्पेक्टर विनीत पाण्डेय और गौरव पांडेय, एसआई अशोक यादव, एएसआई राजेश यादव, नीता कुर्रे और चौहान, के साथ-साथ अफसर विवेक भगत, नसरुद्दीन अंसारी और हरिशंकर राम शामिल थे।