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मेयर ढेबर के बैजनाथपारा वार्ड में बड़ी कैंची…स्टेडियम के पीछे का हिस्सा काटकर शैलेंद्रनगर जोड़ा…कांग्रेसियों के 36 वार्ड प्रभावित…कोर्ट जाने की तैयारी

राजधानी रायपुर में वार्डों के परिसीमन को लेकर कांग्रेस उबल गई है। शुक्रवार को हुई बैठक में कांग्रेस के सभी 36 पार्षदों ने आरोप लगाया कि उनके वार्डों को इस तरह काटा गया है कि वोट बैंक दूसरे वार्डों में शिफ्ट कर उनके यहां ऐसे बूथ जोड़ दिए गए हैं, जिनमें भाजपा की परंपरागत लीड रहती है। सबसे बड़ा असर खुद महापौर एजाज ढेबर के वार्ड बैजनाथपारा में पड़ा है। वहां स्टेडियम के पीछे का पूरा  हिस्सा काटा गया है, लेकिन शैलेंद्रनगर-टैगोरनगर का हिस्सा जोड़ दिया गया है। मौदहापारा वार्ड में साईंनगर को जोड़ने का प्रस्ताव है। इससे देवेंद्रनगर के एक वार्ड तथा जवाहरनगर वार्ड का भूगोल भी बदल रहा है। आकाश तिवारी का पं. रविशंकर शुक्ल वार्ड विलोपित ही कर दिया गया है। मेयर एजाज ढेबर ने परिसीमन प्रस्ताव में राजनीति का आरोप लगाते हुए कहा कि कांग्रेस पार्षदों के सभी 36 वार्डों को प्रभावित किया गया है। इसके खिलाफ हम कोर्ट जाने वाले हैं, जिसकी प्रक्रिया शुक्रवार से शुरू कर दी गई।

राजधानी के वार्डों के परिसीमन प्रस्ताव में किन वार्डों में कौन सा हिस्सा काटा और कौन सा जोड़ा, अब इनसे जुड़ी बातें सामने आ रही हैं। ऐसा नहीं है कि केवल कांग्रेस पार्षदों के वार्ड प्रभावित हुए हैं। भाजपा नेता सूर्यकांत राठौड़ के वार्ड में भी कुछ हिस्सा कटा है, तो कुछ नया जोड़ा गया है। कांग्रेस पार्षद आकाश तिवारी का वार्ड खत्म हुआ है तो भाजपा नेता डा. प्रमोद साहू का वार्ड भी विलोपित किया गया है। दोनों ही दलों से जुड़े निगम नेताओं का कहना है कि आबादी के लिहाज से बदलाव हुआ है। हालांकि पार्षदों के एक तबके का यह भी मानना है कि जिसे वोट बैंक मान रहे हैं, जाहिर है कि वह दूसरे वार्डों में जुड़ेगा तो वहां उनकी पार्टी के वोट बढ़ेंगे। इससे एक वार्ड में किसी की नेतागिरी प्रभावित हो सकती है, लेकिन पूरी तौर पर देखा जाए तो वोट बैंक वाले हिस्सा कहीं न कहीं तो बना रहेगा।

वार्डों के परिसीमन में राजनीति गलतः ढेबर

द स्तंभ से बातचीत करते हुए मेयर एजाज ढेबर ने परिसीमन जैसे गंभीर विषय में राजनीति करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि परिसीमन प्रस्ताव तैयार करनेवाले अमले को राजनैतिक दबाव में रखा गया। वार्डों की सीमाएं इस तरह प्रभावित की गईं कि कांग्रेस का वोट बैंक ऐसे वार्डों में शिफ्ट किया जाए, जो भाजपा के बहुमत वाले हैं। इस तरह, कांग्रेस से पार्षद चुनाव लड़नेवालों की संभावनाओं पर हमला करने की कोशिश की गई है। मेयर ने माना कि उनके बैजनाथपारा वार्ड को भी इस तरह काटकर नया हिस्सा जोड़ा गया है, जिससे पार्षद चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी को दिक्कत आ सकती है। मेयर ढेबर ने कहा कि कांग्रेस पार्टी इस परिसीमन को कोर्ट में चुनौती देने जा रही है। इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। गौरतलब है, वार्डों के परिसीमन पर दावे-आपत्तियों का सिलसिला भी इसी हफ्ते से शुरू किया जा रहा है।

 

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